भोपाल। मध्य प्रदेश में सीएम हेल्पलाइन में की गई शिकायतों के निराकरण को लेकर अधिकारी गंभीर नहीं हैं। विभागों एवं जिलों की सौ दिन से अधिक समय से लंबित शिकायतें तीन लाख 39 हजार 727 हो गई हैं। अब मुख्यमंत्री 28 अक्टूबर को समाधान ऑनलाइन कार्यक्रम में शिकायतकर्ताओं से बात कर शिकायतों का निराकरण करेंगे। लोक सेवा प्रबंधन विभाग के प्रमुख सचिव राघवेंद्र कुमार सिंह ने सभी विभाग प्रमुखों एवं जिला कलेक्टरों को इस संबंध में पत्र जारी किया है। सबसे अधिक शिकायत महिला एवं बाल विकास विभाग की है। विभाग के अंतर्गत पीएम मातृ वंदना योजना की 64 हजार 600, स्वास्थ्य विभाग की जननी सुरक्षा, श्रमिक प्रसूति सहायता योजना में राशि प्राप्त न होने की 60 हजार 406 शिकायतें हैं।
इन विभागों की शिकायतें भी लंबित
पंचायत एवं ग्रामीण विकास विभाग में पीएम ग्रामीण आवास योजना में राशि प्रदाय न करने की 15 हजार 870 शिकायतें।
गृह विभाग में विवेचना में विलंब व लापरवाही करना, समय से प्रकरण न्यायालय में प्रस्तुत नहीं करना, किसी पक्ष से मिलकर दबाव में सही कार्रवाई न करने की 13 हजार 345 शिकायतें।
श्रम विभाग में असंगठित शहरी, ग्रामीण कर्मकार मंडल की संबल योजना में लाभ न मिलने की 12 हजार 626 शिकायतें।
राजस्व विभाग की नामांतरण एवं बंटवारा संबंधी मामले निराकृत न होने संबंधी 12 हजार 43 शिकायतें।
ऊर्जा विभाग में बिजली न आने, वोल्टेज की समस्या से संबंधित 10 हजार 976 शिकायतें।
अनुसूचित जाति कल्याण विभाग में छात्रवृत्ति न प्राप्त होने, छात्रावासों में आवास, भोजन, सफाई आदि की सुविधा न होने, प्रवेश न मिलने, अतिक्रमण संबंधी आठ हजार 471 शिकायतें।
पिछड़ा वर्ग एवं अल्पसंख्यक कल्याण विभाग में पोस्ट मैट्रिक, प्रावीण्य, विदेश अध्ययन छात्रवृत्ति न मिलने संबंधी 7 हजार 175 शिकायतें।
खाद्य विभाग में नवीन राशन कार्ड एवं पात्रता पर्ची जारी न होने संबंधी 5 हजार 312 शिकायतें।
स्कूल शिक्षा विभाग में समेकित छात्रवृत्ति योजना अंतर्गत कक्षा एक से 12 तक छात्रवृत्ति न मिलने की 4 हजार 435 शिकायतें।
जनजातीय कार्य विभाग में आवास सहायता योजना की राशि प्राप्त न होने संबंधी 543 शिकायतें लंबित हैं।
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Kailash Pandey
Anuppur (M.P.)
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